जाने किसकी दुआ के असर से साथ मिला है तेरा मुझको...
मुझे मेरी किस्मत पर इतना यकीन ना था और ना है..
बस मेरी इतनी सी इनायत है तुमसे कि..
जो थाम लिया है हाथ तो सफ़र मे साथ ना छूटने पाए..
रूठ जाए जो मौसम कभी.. प्यार की डोर ये ना टूटने पाए...
फ़ासले है लंबे इतने पर कर कुछ नही सकता..
हाँ प्रेम का ये दीपक अब बुझ नही सकता..
जिस दिन याद ना आए अपने महबूब की चाहत
उस दिन सांझ ढले सूरज छुप नही सकता...
तस्वीर तुम्हारी अब बाते कुछ करती है...
दिल के तन्हा कमरो मे रंग नये भारती है..
मीलो के जो फ़ासले है तेरे मेरे दरम्यान...
रुसवा कर उन्हे सपनो मे रोज़ अब मुलाकात करती है...
कुछ अनकही बाते जो तुम्हारी आँखे कह गयी...
कुछ अरमानो की जूस्तजू तो बातो मे रह गयी.,..
मुलाक़ते तो हो जाएगी कभी फिर से...
आज के आलम तो ये मुलाकात अधूरी रह गयी
मुझे मेरी किस्मत पर इतना यकीन ना था और ना है..
बस मेरी इतनी सी इनायत है तुमसे कि..
जो थाम लिया है हाथ तो सफ़र मे साथ ना छूटने पाए..
रूठ जाए जो मौसम कभी.. प्यार की डोर ये ना टूटने पाए...
फ़ासले है लंबे इतने पर कर कुछ नही सकता..
हाँ प्रेम का ये दीपक अब बुझ नही सकता..
जिस दिन याद ना आए अपने महबूब की चाहत
उस दिन सांझ ढले सूरज छुप नही सकता...
तस्वीर तुम्हारी अब बाते कुछ करती है...
दिल के तन्हा कमरो मे रंग नये भारती है..
मीलो के जो फ़ासले है तेरे मेरे दरम्यान...
रुसवा कर उन्हे सपनो मे रोज़ अब मुलाकात करती है...
कुछ अनकही बाते जो तुम्हारी आँखे कह गयी...
कुछ अरमानो की जूस्तजू तो बातो मे रह गयी.,..
मुलाक़ते तो हो जाएगी कभी फिर से...
आज के आलम तो ये मुलाकात अधूरी रह गयी
No comments:
Post a Comment